Consultation in Corona Period-75

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Pankaj Oudhia पंकज अवधिया


"10 वर्षों पूर्व जब मैंने आपसे संपर्क किया था कि मेरे बाल बुरे तरीके से झड़ रहे हैं। न केवल सिर के बाल बल्कि दाढ़ी के भी।


 तब आपने मेरी बहुत मदद की थी। उसके बाद 10 वर्षों तक मुझे किसी भी प्रकार की तकलीफ नहीं रही और बालों का झड़ना पूरी तरह से रुक गया। 


आज 10 सालों के बाद बालों के झड़ने की समस्या फिर से शुरू हो गई है इसलिए मैंने आपसे फिर से संपर्क किया है। इस उम्मीद से कि आप बता पाएंगे कि इसका कारण क्या है और इसका उपाय क्या है?"


 देहरादून से जब यह संदेश मेरे पास आया तो मुझे उस युवक का पूरा मामला याद आ गया।


10 वर्ष पहले जब उसने मुझसे संपर्क किया था तब उसने बताया था कि वह डायबिटिक है और डायबिटीज के लिए Glimepiride नामक दवा का सेवन कर रहा है। 


उसके बाल तेजी से झड़ रहे थे और उसका आधा सिर खाली हो चुका था। वह विग का सहारा लेता था।


 उसे बताया गया था कि उसके बाल डायबिटीज के कारण और उसके नियमित जीवन में तनाव के कारण झड़ रहे थे। 


उसने सभी तरह की चिकित्सा पद्धतियों का सहारा लिया। कई तरह के तेल लगाये पर बालों का झड़ना किसी भी तरह से कम नहीं हुआ।


 उसने मुझसे संपर्क इसलिए किया था कि मैं उसे पारंपरिक चिकित्सकों के बारे में बता सकूँ। 


ऐसे पारंपरिक चिकित्सक जो बालों को फिर से उगा सकते हैं। मैंने उसे 20 से अधिक पारंपरिक चिकित्सकों के पते दिए। 


उसने कई तरह के नुस्खे आजमाएं पर किसी भी तरह से उसे सफलता नहीं मिली।


 वह लौटकर जब फिर से मेरे पास आया तो मैंने उससे कहा कि मैं उसे किसी प्रकार की दवा तो नहीं दे पाऊंगा पर यह बता पाऊंगा कि कहीं बालों के झड़ने का कारण किसी प्रकार की दवाओं का इंटरेक्शन तो नहीं है। 


डायबिटीज की आधुनिक दवा के साथ में वह च्यवनप्राश का सेवन कर रहा था और पेट के लिए त्रिफला का भी।


 मैंने दोनों के सैंपल उससे मंगवाए और स्थानीय लैब में जांच करवाई तो पता चला है कि उसके द्वारा उपयोग किया जा रहा च्यवनप्राश बिल्कुल सही था।


 उसमें किसी भी प्रकार का दोष नहीं था पर त्रिफला में मुझे गड़बड़ी प्रतीत हुई।


जब मैंने उस त्रिफला की पारंपरिक विधियों से जांच की तो पता चला कि उसमें ऐसे आंवले का प्रयोग किया गया था जो कि दोषपूर्ण था।


 जब आँवले को ऐसे वृक्षों से एकत्र किया जाता है जहां मिट्टी में आयरन की कमी होती है तब ऐसे दोषयुक्त आँवले प्राप्त होते हैं।


 ऐसे आँवले को जब त्रिफला में प्रयोग किया जाता है तो पूरा त्रिफला ही दोषयुक्त हो जाता है।


 ऐसे त्रिफला की बहुत सारी पारंपरिक और आधुनिक दवाओं के साथ विपरीत प्रतिक्रिया होती है।


 मैंने इस बारे में विस्तार से लिखा है और बहुत से ऐसे मामलों को देखा है जिनके लिए त्रिफला मुख्य रूप से जिम्मेदार था।


 मैंने उसी वक्त उससे कहा कि वह कुछ समय तक त्रिफला का प्रयोग रोक दें और फिर मुझे बताये कि बालों की स्थिति क्या है?


 उसने त्रिफला का प्रयोग जब रोका तो उसके बालों के झड़ने की समस्या धीरे-धीरे कम होती गई और 6 से 7 महीनों में पूरी तरह से समाप्त हो गई।


 मैंने उसे चेताया कि भविष्य में जब भी त्रिफला के साथ  Glimepiride का प्रयोग करें तो विशेष सावधानी बरतें और यदि संभव हो तो उसकी जांच मुझसे करवा लें ताकि अगर उसमें किसी प्रकार का दोष हो तो मैं उसे ठीक कर सकूँ।


 उसने मेरी बात मानी फिर 10 वर्षों तक उससे किसी भी प्रकार का संपर्क नहीं रहा। 


अब जब उसने फिर से मुझसे संपर्क किया तब उसने बताया कि वह त्रिफला का सेवन अभी नहीं कर रहा है पर डायबिटीज के लिए दवा का प्रयोग अभी भी जारी है।


 उसने यह भी बताया कि वह अब बड़ा व्यापारी बन गया है और बहुत सारे किस्म के हर्बल प्रोडक्ट्स बना रहा है।


 उसने मुझे हर्बल प्रोडक्ट की सूची भेजी और कहा कि यदि इनमें से कोई प्रोडक्ट पसन्द आये तो मैं लोगों को सलाह दूं कि वे इन प्रोडक्ट का इस्तेमाल करें।


 एक शाम बैठे-बैठे जब मैं उसकी प्रोडक्ट लिस्ट का अध्ययन कर रहा था तो मुझे बड़ी ही रुचिकर हर्बल कॉफी के बारे में पता चला जो कि उसकी कंपनी बना रही थी।


 जब मैंने उस कॉफी के घटकों का विस्तार से अध्ययन शुरू किया तब एक चौंकाने वाली बात मेरे मन में आई।


 मैंने उसे तुरंत फोन करके पूछा कि क्या वह अभी इस कॉफी का उपयोग कर रहा है तो उसने कहा कि हां वह दिन में दो बार इस कॉफी का प्रयोग करता है और इससे उसकी मानसिक स्थिति अच्छी रहती है।


 मैंने बताया कि इसी कॉफी में दोष के कारण उसके बाल फिर से झड़ रहे हैं तो वह थोड़ा नाराज हो गया और कहा कि यह तो हर्बल कॉफी है जिसके बारे में केवल प्रशंसा ही सब जगह लिखी गई है।


मैंने कहा कि इस हर्बल कॉफी में कोई दोष नहीं है। इसमें मुख्य घटक के रूप में चरोटा का प्रयोग किया जा रहा है और इस चरोटा के बीज की डायबिटीज की दवा Glimepiride से विपरीत प्रतिक्रिया होती है।


 इसी कारण उसके बाल झड़ रहे हैं। इसलिए बेहतर है कि वह अपने चिकित्सक से मिलकर इस नकारात्मक प्रतिक्रिया के बारे में उन्हें बताएं और उनसे अनुरोध करें कि वे डायबिटीज की दवा को बदल दें ताकि उसकी हर्बल कॉफी के साथ किसी भी प्रकार की विपरीत प्रतिक्रिया न हो। 


यदि चाहे तो वह हर्बल कॉफी का प्रयोग बंद कर सकता है और Glimepiride का प्रयोग जारी रख सकता है। दोनों में से एक रास्ता चुनना है। 


किसी भी एक रास्ते के चयन से इस समस्या का पूरी तरह से समाधान हो जाएगा।


 उसने पहले वाला रास्ता चुना और अपने चिकित्सक से कहकर अपनी दवा बदलवा ली।


 नई दवा के बारे में जानकारी जब उसने मुझे दी तो मैंने उससे कहा कि इसकी हर्बल कॉफी के साथ किसी भी प्रकार की विपरीत प्रतिक्रिया नहीं होगी इसलिए वह बेधड़क इसका इस्तेमाल कर सकता है। 


उसने धन्यवाद दिया और 6 महीने बाद उसका फिर से फोन आया कि उसके बालों के गिरने की समस्या पहले की तरह एक बार फिर से समाप्त हो गई है।


 मैंने उसे शुभकामनाएं दी।


 सर्वाधिकार सुरक्षित


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